मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने जागेश्वर श्रावणी मेले का वर्चुअल शुभारंभ

The post मुख्यमंत्री ने जागेश्वर श्रावणी मेले का वर्चुअल शुभारंभ किया appeared first on Avikal Uttarakhand. सांस्कृतिक विरासत को संरक्षित करने के लिए सरकार प्रतिबद्ध- धामी अविकल उत्तराखंड अल्मोड़ा। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने बुधवार को जागेश्वर मंदिर समिति द्वारा आयोजित श्रावणी मेला 2025 का वर्चुअल… The post मुख्यमंत्री ने जागेश्वर श्रावणी मेले का वर्चुअल शुभारंभ किया appeared first on Avikal Uttarakhand.

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने जागेश्वर श्रावणी मेले का वर्चुअल शुभारंभ
मुख्यमंत्री ने जागेश्वर श्रावणी मेले का वर्चुअल शुभारंभ किया

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने जागेश्वर श्रावणी मेले का वर्चुअल शुभारंभ

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**Written by Priya Sharma, Neha Verma, and Suman Singh - Team The Odd Naari**

वर्चुअल शुभारंभ: सांस्कृतिक धरोहर की प्रगति

अल्मोड़ा, उत्तराखंड - उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने बुधवार को जागेश्वर मंदिर समिति द्वारा आयोजित श्रावणी मेले 2025 का वर्चुअल शुभारंभ किया। इस आयोजन का मुख्य उद्देश्य धार्मिक श्रद्धा को बढ़ावा देने के साथ-साथ राज्य की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत को संरक्षित करना भी है। मुख्यमंत्री धामी ने स्पष्ट किया कि "जागेश्वर धाम देवभूमि की पौराणिक सांस्कृतिक धरोहर का प्रतीक है," जो न केवल धार्मिक आस्था को बल देती है, बल्कि सांस्कृतिक संवेदनशीलता को भी विस्तार देती है।

एक ऐसा मेला जो धर्म से आगे बढ़कर संस्कृति का उत्सव है

मुख्यमंत्री ने इस मेले को केवल धार्मिक आयोजन के रूप में नहीं देखा, बल्कि इसे लोक आस्था, परंपरा, और सांस्कृतिक मूल्यों का प्रतीक बताया। उन्होंने कहा, "यह मेला हमें अपने सांस्कृतिक मूल्यों को संरक्षित करने और उन पर गर्व करने का एक अवसर देता है।" इस मेले के माध्यम से स्थानीय समुदाय की सांस्कृतिक पहचान को उजागर किया जा रहा है और इसे संजोने का एक महत्वपूर्ण प्रयास किया जा रहा है।

सरकार की दीर्घकालिक योजनाएं: जागेश्वर के लिए मास्टर प्लान

मुख्यमंत्री ने बताया कि केंद्र सरकार के मार्गदर्शन में पूरे देश में सांस्कृतिक पुनर्जागरण का अमृतकाल चल रहा है। इस दिशा में, अयोध्या में श्रीराम मंदिर, काशी विश्वनाथ कॉरिडोर, और केदारनाथ-बद्रीनाथ धाम का पुनर्निर्माण जैसे कई महत्त्वपूर्ण परियोजनाएं प्रगति पर हैं। जागेश्वर के लिए मास्टर प्लान के अंतर्गत पहले चरण को 146 करोड़ रुपये की स्वीकृति प्राप्त है, जो कुमाऊं के धार्मिक स्थलों के संरक्षण और विकास में अहम साबित होगी।

पर्यटन को बढ़ावा: रोजगार के नए अवसर

इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने उल्लेख किया कि अल्मोड़ा में 40 किमी का साइकिल ट्रैक, शीतलाखेत को ईको टूरिज्म में विकसित किया जा रहा है, और द्वाराहाट-बिनसर को आध्यात्मिक पर्यटन केंद्र के रूप में तैयार किया जा रहा है। नीति आयोग के अनुसार, उत्तराखंड ने सतत विकास लक्ष्यों में उत्कृष्ट स्थान प्राप्त किया है, और राज्य की बेरोजगारी दर राष्ट्रीय औसत की तुलना में कम है, जो कि राज्य की योजनाओं की सफलताओं का प्रमाण है।

धार्मिक और सांस्कृतिक सुरक्षा : महत्वपूर्ण कानून

मुख्यमंत्री ने धार्मिक और सांस्कृतिक मूल्यों की सुरक्षा के लिए कानूनों की आवश्यकता पर भी जोर दिया। उन्होंने धर्मांतरण विरोधी कानून और समान नागरिक संहिता जैसे महत्वपूर्ण कानूनों की बात की, जो समाज में सहिष्णुता और सुरक्षा सुनिश्चित करने में सहायक होंगे। इस कार्यक्रम में केंद्रीय राज्य मंत्री अजय टम्टा और विधायक मोहन सिंह मेहरा जैसे कई गणमान्य लोग भी उपस्थित रहे।

निष्कर्ष

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी द्वारा किए गए इस वर्चुअल शुभारंभ का उद्देश्य जागेश्वर धाम की सांस्कृतिक महत्ता को उजागर करना और आने वाली पीढ़ियों के लिए इसकी सुरक्षा और विकास को सुनिश्चित करना है। जागेश्वर श्रावणी मेले का यह आयोजन सांस्कृतिक जागरूकता को बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा, विशेषकर युवा पीढ़ी के लिए।

कम शब्दों में कहें तो, यह मेला न केवल धार्मिक आस्था का प्रतीक है, बल्कि यह हमारे सांस्कृतिक धरोहर की सुरक्षा के लिए एक अनिवार्य घटक भी बन चुका है। For more updates, visit here.