मार्क कार्नी ने कनाडा के नए प्रधानमंत्री के रूप में शपथ ली
पूर्व केंद्रीय बैंकर मार्क कार्नी ने शुक्रवार को कनाडा के नए प्रधानमंत्री के रूप में शपथ ली और अब वह अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा शुरू किए गए व्यापार युद्ध, विलय के खतरे और एक संभावित आम चुनाव के बीच अपने देश को आगे बढ़ाने का प्रयास करेंगे। कार्नी (59) ने प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो की जगह ली, जिन्होंने जनवरी में अपने इस्तीफे की घोषणा की थी। लिबरल पार्टी द्वारा नया नेता चुने जाने तक ट्रूडो सत्ता में बने रहे। उम्मीद है कि कार्नी आने वाले दिनों या हफ्तों में आम चुनाव की घोषणा कर सकते हैं। कार्नी ने कहा, ‘‘हम कभी भी, किसी भी तरह से, अमेरिका का हिस्सा नहीं बनेंगे। अमेरिका, कनाडा नहीं है। हम मूल रूप से एक अलग देश हैं।’’ कार्नी ने कहा कि वह आने वाले दिनों में फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों और ब्रिटेन के प्रधानमंत्री केअर स्टार्मर से मिलने के लिए दोनों देशों की यात्रा करेंगे। उन्हें दोनों देशों से निमंत्रण मिला है। कनाडा के नए प्रधानमंत्री ने कहा, ‘‘हमें अपने व्यापार भागीदारों में विविधता लानी चाहिए और ऐसा करते हुए अपनी सुरक्षा को मजबूत करना होगा।’’ इस साल संभावित चुनाव में सत्तारूढ़ लिबरल पार्टी की हार की संभावना जतायी जा रही थी, लेकिन ट्रंप ने शुल्क के रूप में ‘‘आर्थिक युद्ध’’ की घोषणा कर दी और पूरे देश को 51वें प्रांत के रूप में अमेरिका में मिलाने की चेतावनी दी। अब इन बदले समीकरण के चलते लिबरल पार्टी को चुनाव में बढ़त मिलने के दावे किए जा रहे हैं। ट्रंप ने कनाडा के इस्पात और एल्युमीनियम पर 25 प्रतिशत शुल्क लगा दिया है तथा दो अप्रैल से सभी कनाडाई उत्पादों पर भारी शुल्क लगाने की घोषणा की है। कार्नी सरकार के नए मंत्रिमंडल को भी शपथ दिलाई गई है। एफ. फिलिप शैम्पेन कनाडा के नए वित्त मंत्री बन गए हैं। मेलानी जोली को विदेश मंत्री के रूप में बरकरार रखा गया है। क्रिस्टिया फ्रीलैंड को परिवहन और आंतरिक व्यापार मंत्री बनाया गया है। फ्रीलैंड पूर्व उप प्रधानमंत्री हैं, जो लिबरल पार्टी के नेतृत्व की दौड़ में कार्नी से पिछड़ गई थीं। कार्नी का जन्म 16 मार्च, 1965 को फोर्ट स्मिथ में हुआ था और उनका पालन-पोषण एडमॉन्टन, अल्बर्टा में हुआ। कार्नी ने 2008 से 2013 तक बैंक ऑफ कनाडा और 2013 से 2020 तक बैंक ऑफ इंग्लैंड का नेतृत्व किया। वर्ष 2008 के वित्तीय संकट के सबसे बुरे प्रभावों से निपटने में कनाडा की मदद करने के बाद कार्नी को बैंक ऑफ इंग्लैंड की कमान सौंपी गई। 1694 में बैंक ऑफ इंग्लैंड की स्थापना के बाद से ऐसा पहली बार हुआ जब किसी गैर-ब्रिटिश व्यक्ति को इसका नेतृत्व सौंपा गया। कार्नी ने वर्ष 2020 में जलवायु कार्रवाई एवं वित्त के लिए संयुक्त राष्ट्र के विशेष दूत के रूप में काम करना शुरू किया। 2003 में बैंक ऑफ कनाडा के डिप्टी गवर्नर नियुक्त होने से पहले कार्नी ने लंदन, टोक्यो, न्यूयॉर्क और टोरंटो में 13 साल तक काम किया। हालांकि, उन्हें राजनीति का कोई अनुभव नहीं है।

मार्क कार्नी ने कनाडा के नए प्रधानमंत्री के रूप में शपथ ली
The Odd Naari द्वारा, लेखक: प्रिया वर्मा, नेतनागरी टीम
कनाडा ने हाल ही में एक नए राजनीतिक अध्याय की शुरुआत की है, जब मार्क कार्नी ने देश के नए प्रधानमंत्री के रूप में शपथ ली। कार्नी, जो पूर्व में बैंक ऑफ इंग्लैंड के गवर्नर रह चुके हैं, उनका अनुभव और नेतृत्व क्षमता उन्हें इस महत्वपूर्ण भूमिका के लिए एक उपयुक्त उम्मीदवार बनाते हैं। इस लेख में, हम उनके योगदान, प्राथमिकताओं और कनाडा की राजनीति में उनके आने के प्रभाव पर चर्चा करेंगे।
मार्क कार्नी का राजनीतिक सफर
मार्क कार्नी का जन्म 16 अगस्त 1965 को अल्बर्टा में हुआ। उन्होंने हार्वर्ड विश्वविद्यालय और ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय से शिक्षा प्राप्त की। उनके करियर की शुरुआत वित्तीय क्षेत्र में हुई थी, और वे धीरे-धीरे शीर्ष पदों पर पहुँच गए। कार्नी की पहचान जब बनी जब उन्होंने बैंक ऑफ कनाडा के गवर्नर के रूप में कार्य किया। इसके बाद, उन्होंने बैंक ऑफ इंग्लैंड के गवर्नर पद पर काबिज होकर अंतरराष्ट्रीय वित्तीय मुद्दों पर महत्वपूर्ण हस्तक्षेप किया।
शपथ ग्रहण समारोह
मार्क कार्नी का शपथ ग्रहण समारोह ओटावा में आयोजित किया गया, जिसमें विभिन्न राजनीतिक और सामाजिक हस्तियों ने भाग लिया। इस अवसर पर उन्होंने अपने विचार साझा करते हुए कहा, "कनाडा के लिए यह एक नया प्रारंभ है, और हमें मिलकर काम करना होगा ताकि हम सभी की उम्मीदों पर खरे उतर सकें।" उन्होंने जलवायु परिवर्तन, स्वास्थ्य और शिक्षा जैसे प्रमुख मुद्दों पर ध्यान देने की आवश्यकता पर जोर दिया।
मुख्य प्राथमिकताएँ
कार्नी ने प्रधानमंत्री पद की शपथ लेते ही कुछ प्रमुख प्राथमिकताओं की घोषणा की है। इनमें प्रमुख रूप से:
- जलवायु परिवर्तन: उन्होंने कहा कि यह उनकी सरकार की प्राथमिकता होगी और वे नवीकरणीय ऊर्जा के क्षेत्र में निवेश को बढ़ावा देंगे।
- स्वास्थ्य सेवाएँ: उन्होंने कनाडा के स्वास्थ्य प्रणाली को मजबूत बनाने का वादा किया।
- आर्थिक विकास: कनाडा की अर्थव्यवस्था को फिर से पटरी पर लाने के लिए नई योजनाओं की घोषणा की जाएगी।
कनाडा की राजनीति पर प्रभाव
मार्क कार्नी का प्रधानमंत्री बनना कनाडा की राजनीति में एक बड़ा बदलाव लाएगा। उनके पास अंतरराष्ट्रीय अनुभव है, जो कि देश के वैश्विक स्तर पर महत्त्व को बढ़ाने में सहायक होगा। उनके द्वारा की गई नीतियों का असर न केवल कनाडा के भीतर, बल्कि वैश्विक स्तर पर भी महसूस किया जाएगा।
निष्कर्ष
मार्क कार्नी का प्रधानमंत्री के रूप में कार्यभार संभालना एक महत्वपूर्ण मोड़ है। उनकी योग्यताओं और दृष्टिकोण से उम्मीद की जा रही है कि वे कनाडा के लिए सकारात्मक परिवर्तन लाएंगे। हमें उनके नेतृत्व पर ध्यान देना होगा और देखना होगा कि वे अपने वादों को कैसे पूरा करते हैं।
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